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सूर्या हांसदा एनकाउंटर पर सियासत गरमाई

On: August 17, 2025 7:36 PM
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अर्जुन मुंडा बोले – “दोबारा पोस्टमार्टम हो, सीबीआई जांच कराए सरकार, नहीं तो भाजपा करेगी बड़ा आंदोलन”

रिपोर्ट: शैलेश सिंह 

गोड्डा पुलिस के चर्चित एनकाउंटर में मारे गए आदिवासी नेता सूर्यनारायण हांसदा उर्फ सूर्या हांसदा के मामले ने झारखंड की सियासत को गरमा दिया है। रविवार को भाजपा की सात सदस्यीय टीम ललमटिया के डकैता गांव पहुंची और मृतक सूर्या हांसदा के परिवार से मुलाकात कर पूरे घटनाक्रम की जानकारी ली।

टीम का नेतृत्व पूर्व मुख्यमंत्री और केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने किया। उनके साथ पूर्व मंत्री अमर बाउरी, पूर्व मंत्री भानु प्रताप शाही, विधायक रणधीर सिंह, दुमका के पूर्व सांसद सुनील सोरेन, भाजपा प्रदेश प्रवक्ता सह पूर्व विधायक अमित मंडल और अनिता सोरेन मौजूद थीं।


परिवार और ग्रामीणों से की मुलाकात

भाजपा प्रतिनिधिमंडल ने सूर्या हांसदा की माँ, पत्नी और भाई से मिलकर उनकी पीड़ा सुनी। परिवार ने आरोप लगाया कि पुलिस ने सुनियोजित तरीके से सूर्या की हत्या कर दी और इसे एनकाउंटर का रूप दे दिया।

गांव के बड़ी संख्या में बच्चे, जिन्हें सूर्या हांसदा ने गरीब और असहाय परिवारों के लिए खोले गए स्कूल में पढ़ने का अवसर दिया था, ने भी भाजपा नेताओं के समक्ष सीबीआई जांच की मांग उठाई।


“गांव का मांझी घर था सूर्या का परिवार”

अर्जुन मुंडा ने मीडिया से बातचीत में कहा कि सूर्या हांसदा का परिवार परंपरागत रूप से गांव का मांझी घर यानी सामुदायिक मुखिया रहा है। यह परिवार हमेशा ग्रामीणों के विकास और सामुदायिक परंपराओं को निभाने का काम करता आया है।

उन्होंने आरोप लगाया कि “प्रशासन ने एक सुनियोजित षड्यंत्र के तहत इस उभरते आदिवासी नेता को रास्ते से हटा दिया। पुलिस ने फर्जी मुठभेड़ का सहारा लेकर सूर्या की हत्या की है।”


गिरफ्तारी के बाद एनकाउंटर का आरोप

अर्जुन मुंडा ने बड़ा आरोप लगाते हुए कहा कि

  • 10 अगस्त को पुलिस ने सूर्या हांसदा को गिरफ्तार किया।
  • 11 अगस्त को पुलिस ने इसे एनकाउंटर बताकर पोस्टमार्टम करवा दिया और शव परिजनों को सौंप दिया।
  • सूर्या पर 25 केस दर्ज थे, जिनमें से 14 मामले झूठे साबित हो चुके थे
  • पुलिस ने बिना कोर्ट वारंट के ही सूर्या को गिरफ्तार किया और फिर हत्या कर दी।

मुंडा ने इसे “गोड्डा पुलिस की गहरी साजिश” करार दिया।


“दोबारा हो पोस्टमार्टम, सीबीआई जांच जरूरी”

अर्जुन मुंडा ने साफ कहा कि इस पूरे मामले की सच्चाई सामने लाने के लिए सूर्या हांसदा का दोबारा पोस्टमार्टम होना चाहिए और जांच की जिम्मेदारी सीबीआई को दी जानी चाहिए।

उन्होंने चेतावनी दी –

“अगर सरकार ने इस मामले की निष्पक्ष जांच नहीं कराई तो भाजपा पूरे राज्य में बड़ा आंदोलन छेड़ेगी और पीड़ित परिवार को न्याय दिलाने का काम करेगी।”


सूर्या हांसदा : गांव का शिक्षक और सामाजिक कार्यकर्ता

सूर्या हांसदा ने अपने गांव और आसपास के इलाकों में गरीब और अनाथ बच्चों के लिए स्कूल खोला था, जहां करीब 350 बच्चे पढ़ते थे। ग्रामीणों का कहना है कि उन्होंने हमेशा समाज की सेवा की और आदिवासी समुदाय की आवाज बने।

भाजपा नेताओं ने कहा कि इसी वजह से उन्हें साजिशन रास्ते से हटा दिया गया।

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सिंहभूम हलचल न्यूज़ एक स्थानीय समाचार मंच है, जो पश्चिमी सिंहभूम, झारखंड से सटीक और समय पर समाचार प्रदान करने के लिए समर्पित है। यह राजनीति, अपराध, मौसम, संस्कृति और सामुदायिक मुद्दों को हिंदी में कवर करता है।

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